जयपुर | पूर्व मंत्री और भाजपा के वरिष्ठ विधायक श्रीचंद कृपलानी ने गुरुवार को प्रश्नकाल में अपनी सरकार के मंत्री को घेरा। उन्होंने मांग पर मंत्री की अस्वीकृति के बाद कहा कि निंबाहेड़ा यदि मानदंड पूरे नहीं करता है तो जो जिले मानदंड पूरे नहीं करते, उनमें मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य केंद्र कैसे खोल दिए? दोनों में कुछ देर खींचतान चली तो मंत्री ने कहा यदि मानदंड पूरे नहीं करने वाले जिलों में खुले हैं तो जांच करा लेंेगे। केंद्र के मानदंड है, उनके अनुसार ही ये केंद्र खोल सकते हैं। मंत्री ने कहा कि निम्बाहेड़ा जिला चिकित्सालय में करीब 2 करोड़ रुपए के काम करवाए जा रहे हैं। केंद्र के मानकों के अनुसार 70 फीसदी से अधिक मेटरनिटी बेड ऑक्युपेंसी होने पर ही यह केंद्र स्वीकृत किए जाते हैं। वर्तमान में राज्य में 24 जिला चिकित्सालयों,16 चिकित्सा महाविद्यालयों एवं 2 उप जिला चिकित्सालयों में कुल 42 मातृत्व एवं शिशु स्वास्थ्य केन्द्र स्थित हैं। जिला चिकित्सालय निंबाहेड़ा का प्रसव भार 48.44 प्रतिशत है, जो निर्धारित 70 प्रतिशत से कम होने के कारण वर्तमान में मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य केन्द्र स्वीकृत किया जाना विचाराधीन नहीं हैं।

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