जयपुर रेलवे ने अपनी नेशनल ट्रेन इंक्वायरी सिस्टम (एनटीईएस) में अपडेट किया है। रेलवे बोर्ड के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि सेंटर फॉर रेलवे इनफॉर्मेशन सिस्टम (क्रिस) ने एप में एक नया फीचर अपडेट किया है। जिससे अब दिव्यांग यात्रियों को दिव्यांग फ्रेंडली कोच की पोजिशन घर बैठे ही पता चल जाएगी। ऐसे में उन्हें ट्रेन आने पर जल्दीबाजी में अपने कोच ढूंढने की दौड़ नहीं लगानी पड़ेगी। इस अपडेट में ट्रेन की कोच संरचना (मार्शलिंग) में दिव्यांग कोच की पोजिशन यानी कोच इंजन से किस नंबर पर रहेगा, यह एप में दिखाया (डिस्प्ले) जाएगा। इसका सबसे बड़ा फायदा उन स्टेशनों पर होगा, जहां कोच डिस्प्ले नहीं हैं या खराब हैं। दरअसल ज्यादातर स्टेशनों पर ट्रेन 2 से 5 मिनट के लिए रुकती है। जहां कोच डिस्पले बोर्ड नहीं है, वहां 20 से 24 कोच की ट्रेन में कोच ढूंढना मुश्किल हो जाता है। एसीएम (आर) हरीश चतुर्वेदी बताते हैं कि अभी तक सिर्फ एसी, स्लीपर और जनरल कोच की जानकारी मिलती थी। वहीं एचएलबी रैक से चलने वाली सिर्फ उन ही ट्रेनों में दिव्यांग कोच है, जिनमें एक पावर कोच है। वहीं जिनमें दो पावर कोच हैं, उनमें दिव्यांग कोच नहीं है। गौरतलब है कि दिव्यांग कोच हमेशा ट्रेन के सिरे पर होते हैं। यानि या तो वो इंजन के नजदीक या ब्रेक वैन (गार्ड के डिब्बे) के नजदीक लगा होता है। एनटीईएस एप को अपग्रेड किया गया।