बांसवाड़ा| शहर के बीच से गुजरने वाले कागदी नदी के सौंदर्यीकरण के लिए पिछले 15 साल से दावे किए जा रहे हैं, लेकिन आज तक इसकी स्थिति नहीं सुधारी। कागदी डैम से लेकर चिड़ियावासा तक इस नदी में जलकुंभी जम गई है। नदी के दोनों ओर जगह-जगह पर दीवार भी क्षतिग्रस्त हो गई है। शहर का सीवरेज भी इसी नदी में डाला जा रहा है। नदी के हालात इतने बदतर है कि पास से गुजरने पर बदबू के कारण लोग नाक बंद करके निकलते हैं। इसके पास रहने वाले भी परेशान हैं। फोटो: दिनेश तंबोली/कपिल शर्मा