पाकिस्तान के खिलाफ ऑपरेशन सिंदूर के बाद से भारतीय डिफेंस स्टॉक्स में लगातार तेजी बनी हुई है। शुक्रवार,16 मई को कोचीन शिपयार्ड, गार्डन रीच शिप बिल्डर्स (GRSE) और मझगांव डॉक जैसी कंपनियों के शेयर 15% तक चढ़े। जबकि निफ्टी इंडिया डिफेंस इंडेक्स में 6% की तेजी है। ब्रोकरेज फर्म्स का मानना है कि पाकिस्तान से तनाव के बीच सरकारी ऑर्डर बढ़ने, घरेलू उत्पादन पर फोकस और निर्यात में बढ़ोतरी की संभावना के चलते डिफेंस स्टॉक्स लगातार निवेश हो रहा है। पिछले 5 दिनों में कोचीन शिपयार्ड ने 34% तो वहीं गार्डन रीच शिप बिल्डर्स ने 38% रिटर्न दिया है। पारस डिफेंस का शेयर 20% चढ़ा डिफेंस इलेक्ट्रॉनिक्स बनाने वाली कंपनी पारस डिफेंस का शेयर आज 15% तेजी के साथ 1,743 रुपए पर कारोबार कर रहा है। PSU डिफेंस शेयर्स में गार्डन रीच शिप बिल्डर्स (GRSE) 12% तेजी के साथ 2,517 रुपए पर ट्रेड कर रहा है। वहीं कोचीन शिपयार्ड का शेयर 12% की तेजी के साथ 2,517 रुपए पर कारोबार कर रहा है। मझगांव डॉक के शेयर में करीब 10% की तेजी है। GRSE का प्रॉफिट 48% बढ़ा गार्डन रीच शिप बिल्डर्स (GRSE) ने FY25 में 48% की उछाल के साथ 527 करोड़ रुपए का नेट प्रॉफिट दर्ज किया है। चौथी तिमाही में लाभ 118% बढ़कर 244 करोड़ रुपए रहा। इसके चलते शेयर में पिछले एक साल में 125% रिटर्न दिया है। बड़े ऑर्डर्स के कारण डिफेंस शेयर में तेजी डिफेंस सेक्टर में तेजी की मुख्य वजह FY27 तक 8.45 लाख करोड़ रुपए के ऑर्डर मिलने की संभावना है। डिफेंस एक्विजिशन काउंसिल (DAC) ने हाल ही में T-90 टैंक इंजन, वरुणास्त्र टॉरपीडो समेत 54,000 करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट्स को मंजूरी दी है। एंटिक स्टॉक ब्रोकिंग के अनुसार, सरकार के ‘मेक इन इंडिया’ पुश और घरेलू उत्पादों पर जोर देने की नीतियों से शिपयार्ड कंपनियों को लंबे समय तक फायदा मिलेगा। वर्तमान में देश का 65% रक्षा उपकरण स्थानीय स्तर पर बन रहा है। 4 साल में चार गुना निर्यात बढ़ाने का लक्ष्य सरकार ने FY25 में डिफेंस सेक्टर में 1.69 लाख करोड़ रुपए के ऑर्डर घरेलू कंपनियों को दिए हैं। FY25 में रक्षा निर्यात 23,622 करोड़ रुपए के रिकॉर्ड स्तर पर पहुंचा है। इसमें पिछले दस साल में 34 गुना बढ़ोतरी हुई है। सरकार ने 2029 तक 3 लाख करोड़ रुपए के रक्षा उत्पादन और निर्यात का लक्ष्य रखा है।