हनुमानगढ़ स्थित नेहरू मेमोरियल विधि महाविद्यालय को एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल हुई है। राज्य सरकार और डॉ. भीमराव अम्बेडकर विधि विश्वविद्यालय, जयपुर ने कॉलेज को एक वर्षीय फोरेंसिक साइंस एंड क्रिमिनल इन्वेस्टिगेशन डिप्लोमा कोर्स की स्थाई मान्यता प्रदान की है। इस कोर्स के बाद छात्रों को कई क्षेत्रों में रोजगार के अवसर मिलेंगे। पुलिस विभाग, कानूनी व्यवस्था और जांच सेवाओं में नौकरी की संभावनाएं हैं। इंटेलिजेंस ब्यूरो और सीबीआई जैसी प्रमुख एजेंसियों में भी काम करने का मौका मिल सकता है। निजी क्षेत्र में फोरेंसिक विशेषज्ञ के रूप में भी काम कर सकते हैं। कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. सीताराम के अनुसार, बढ़ते साइबर अपराधों के कारण फोरेंसिक साइंस के क्षेत्र में अवसर बढ़े हैं। फोरेंसिक लैब, डिटेक्टिव कार्यालय और बैंकों में रोजगार के अवसर उपलब्ध हैं। कोर्स में प्रवेश के लिए एलएलबी में 48 प्रतिशत और बीएससी या एमएससी में 50 प्रतिशत अंक जरूरी हैं। महाविद्यालय में 40 सीटों के लिए प्रवेश प्रक्रिया शुरू हो गई है। इस पाठ्यक्रम से छात्र हस्तलेख विशेषज्ञ, अंगुली चिह्न विशेषज्ञ बन सकते हैं। अपराध स्थल की जांच, साक्ष्य एकत्रीकरण जैसे महत्वपूर्ण कार्यों में भी दक्षता हासिल कर सकते हैं। कोर्स को मान्यता दिलाने में राष्ट्रीय शिक्षण संस्थान समिति का विशेष योगदान रहा है।