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नौकरानी 22.50 लाख के जेवर-नकदी ले गई, वारदात में एजेंटों के भी शामिल होने की आशंका

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शहर में सुखेर थाना क्षेत्र की पॉश कॉलोनी न्यू मॉर्डन कॉम्प्लेक्स में तीन दिन पहले मिनरल्स व्यवसायी के पूरे परिवार को बेहोश कर नेपाली नौकरानी करिश्मा अपने चार साथियों के साथ 22.50 लाख के जेवर और नकदी ले गई। इनमें 15 लाख रुपए नकद रहे, जबकि 10 तोला सोने के जेवर शामिल हैं। व्यवसायी संजय गांधी (47), उनकी प|ी शिल्पा (40), अठारह साल की बेटी और 10 साल के बेटे की हालत में सुधार के बाद गुरुवार को अस्पताल से छुट्‌टी भी मिल गई। घर पहुंचने के बाद उन्हें लॉकर चेक करने के बाद लूट की राशि का पता लगा। नौ जुलाई को सुबह लूट की जानकारी मिलने के बाद से संजय की मां व अन्य रिश्तेदार घर की देखभाल कर रहे थे। आरोपी गुरुवार को तीसरे दिन भी पकड़ से दूर रहे। उधर, नौकरानी करिश्मा को काम के लिए व्यवसायी संजय के घर भेजने वाली एसके एजेंसी के संचालक और प्लेसमेंट एजेंट संजय का मोबाइल वारदात के बाद से बंद है। ऐसे में इनके भी वारदात में शामिल होने की आशंका जताई जा रही है। पुलिस इस दिशा में भी जांच कर रही है। एक दिन पहले भास्कर ने इस मामले की पड़ताल करते हुए गुड़गांव के एजेंट संजोक से संपर्क किया था। अब उसका मोबाइल भी बंद हो गया है। ऐसे में संदेह और बढ़ गया है। वाहन से आने तथा एक साथी और होने का भी संदेह वारदात के बाद पुलिस मामले में अलग-अलग एंगल से जांच कर रही है। लूट के बाद देर रात 2 बजे करिश्मा और उसके 4 साथी सीसीटीवी फुटेज में पैदल जाते हुए दिख रहे हैं, लेकिन पुलिस का कहना है कि वारदात के बाद कोई भी आरोपी पैदल फरार नहीं हो सकता है। ऐसे में वह आसपास में ही कहीं कोई वाहन पार्क कर आए थे। अंदेशा यह भी जताया जा रहा है कि उनका एक साथ और हो सकता है, जो वाहन में ही बैठा रहा। वाहन की जानकारी के लिए सीसीटीवी फुटेज खंगाले जा रहे हैं। बदमाशों की तलाश में पुलिस और जिला स्पेशल टीमें मुंबई और दिल्ली सहित अन्य जगहों पर आरोपियों की तलाश में जुटी हैं। यह है मामला : नेपाली नौकरानी करिश्मा ने मकान मालिक संजय गांधी (47), प|ी शिल्पा, बेटी व बेटे को खाने में 8 जुलाई की रात को बेहोशी की दवा मिला दी। खाना खाने के बाद सभी को अचेत हो गए तो उसने चार साथियों को बुलाया। वे लॉकर तोड़ने का प्रयास कर रहे थे। इस बीच दवा का असर कम होने से संजय की बेटी जाग गई। सभी ने उसके साथ मारपीट की और मुंह में कपड़ा ठूंसने के बाद कपड़े की रस्सी से हाथ-पैर बांध दिए। उन्होंने पहले लॉकर से नकदी व जेवर निकाल लिए और दूसरा नहीं टूटने पर संजय की बेटी से कोड बताने के लिए मारपीट की। बेटी ने कोड नहीं बताए तो वे जेवर-नकदी लेकर फरार हो गए।

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