अमेरिकी टेक कंपनी माइक्रोसॉफ्ट करीब 9,000 कर्मचारियों को नौकरी से निकालने की प्लानिंग कर रही है। ये इस साल का दूसरा सबसे बड़ा ले-ऑफ होगा। 2 महीने पहले कंपनी ने करीब 6,000 कर्मचारियों को नौकरी से निकाला था। CNBC की रिपोर्ट के मुताबिक इस छंटनी से कंपनी के 4% कर्मचारी प्रभावित होंगे। कंपनी का कहना है कि हम ऑर्गेनाइजेशन में लगातार ऐसे बदलाव कर रहे हैं, जिससे बदलते बाजार में सफल हो सकें। कंपनी 2023 में भी 10 हजार कर्मचारियों को नौकरी से निकाल चुकी है। माइक्रोसॉफ्ट में 2 लाख से ज्यादा कर्मचारी माइक्रोसॉफ्ट के पास जून 2024 तक 2,28,000 कर्मचारी थे। लेकिन कंपनी पिछले दो सालों में हजारों लोगों को नौकरी से निकल चुकी है। इस बार का ले ऑफ साल कंपनी के इतिहास की सबसे बड़ी छंटनियों में से एक है। बीते 1 साल में 7% चढ़ा माइक्रोसॉफ्ट का शेयर
बीते 1 साल में माइक्रोसॉफ्ट के शेयर में 7% की तेजी देखने को मिली है। वहीं इस साल इसमें अब में 17% की तेजी रही है। 2 जुलाई को कंपनी का शेयर 491 डॉलर पर ट्रेड कर रहा है। मेटा ने भी 3600 कर्मचारियों को नौकरी से निकाला था
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म फेसबुक और व्हाट्सऐप की पेरेंट कंपनी मेटा ने इसी साल जनवरी में अपने 3600 कर्मचारियों को नौकरी से निकाला था। मेटा ने परफॉरमेंस बेस्ड जॉब कट पॉलिसी के तहत यह फैसला लिया था। इससे कंपनी ने लगभग 5% कर्मचारी प्रभावित हुए थे। 1975 में शुरू हुई माइक्रोसॉफ्ट
माइक्रोसॉफ्ट कंपनी की शुरुआत तब हुई जब ज्यादातर अमेरिकी टाइपराइटर्स का इस्तेमाल करते थे। बिल गेट्स ने अपने बचपन के दोस्त पॉल एलन के साथ इसकी नींव 1975 में रखी। माइक्रोप्रोसेसर्स और सॉफ्टवेयर के शुरुआती शब्दों को जोड़कर इसका नाम माइक्रोसॉफ्ट रखा गया। शुरुआत में कंपनी ने पर्सनल कंप्यूटर अल्टएयर 8800 के लिए सॉफ्टवेयर बनाए। साल 1985 में माइक्रोसॉफ्ट ने नया ऑपरेटिंग सिस्टम लॉन्च किया।
