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मातृशक्ति को माना जाता है परिवार में संस्कारों की जननी : एडीएम शर्मा

बारां| शहर के कोटा रोड स्थित न्यू सिविल लाइंस के हनुमान मंदिर में शनिवार को संगीतमय सुंदरकांड का आयोजन हुआ। धार्मिक भजनों की स्वर लहरियों और मधुर धुनों पर श्रद्धालु झूम उठे। आयोजन समिति की ओर से सुंदरकांड पाठ के साथ भक्ति संगीत की प्रस्तुति दी गई। मुख्य अतिथि एडीएम दिव्यांशु शर्मा ने कहा कि सनातन धर्म से जुड़े संस्कारों को आत्मसात करना जरूरी है। खासतौर पर आने वाली पीढ़ियों को वेद, पुराण, रामायण, भागवत गीता और रामचरितमानस जैसे ग्रंथों का ज्ञान देना चाहिए। उन्होंने कहा कि मातृशक्ति को परिवार में संस्कारों की जननी माना गया है। इसलिए वह बच्चों को अच्छे संस्कार दे सकती हैं। बच्चियों को हिंदू धर्म की पूजा-पद्धति, रीति-नीति और पुराणों का ज्ञान होना जरूरी है। इस दौरान मंदिर के जीर्णोद्धार की योजना भी बनाई गई। पूरे परिसर को नया रूप देने की रूपरेखा तैयार की गई। एडीएम शर्मा ने समिति को भरोसा दिलाया कि वह इस कार्य में सहयोग देंगे। सुंदरकांड के बाद महाआरती हुई। प्रसाद वितरण किया गया। इससे पहले समिति ने एडीएम शर्मा का दुपट्टा पहनाकर स्वागत किया। आयोजन में समिति के सभी पदाधिकारी, सदस्य, मातृशक्ति और सिविल लाइंस के निवासी मौजूद थे।

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