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जिला वैकल्पिक विवाद निस्तारण केन्द्र में शनिवार को राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया। चूरू न्याय क्षेत्र में 12 बैंचों का गठन किया गया। इनमें 23 हजार 352 प्रकरणों का निपटारा कर 21 करोड़ 76 लाख 2 हजार 483 रुपए का अवार्ड जारी किया गया। चूरू के लिए तीन बैंचों की अध्यक्षता जिला एवं सेशन न्यायाधीश रविन्द्र कुमार, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण सचिव डॉ. शरद कुमार व्यास और मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट रेणु सिंगला को नियुक्त किया गया। सदस्य अधिवक्ता के रूप में संजीव वर्मा, रामेश्वरलाल प्रजापत और अब्दुल गफ्फार को नियुक्त किया गया। मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट रेणु सिंगला ने बताया- लोक अदालत में पक्षकारों के प्रकरणों के निस्तारण से भाइचारे की भावना का विकास होता है। पक्षकारों के समय और धन की बचत होती है। सचिव डॉ. शरद कुमार व्यास ने राष्ट्रीय लोक अदालत में प्रकरणों का जरिये राजीनामा निस्तारण पर सभी पक्षकारों को बधाई दी। लोक अदालत में पक्षकारों ने अपने-अपने राजीनामा योग्य प्रकरणों को लेकर काफी उत्साह रहा। राष्ट्रीय लोक अदालत में राजस्व मामलों का भारी संख्या में निस्तारण किया गया। राष्ट्रीय लोक अदालत में अधिवक्ता रामेश्वरलाल प्रजापत ,अब्दुल गफ्फार, विनोद दनेवा, संजीव कुमार वर्मा, नरेन्द्र राठौड़, शेर सिंह पूनिया, सुमेर सिंह उपस्थित आदि रहे। बैंक ऑफ बड़ौदा, केनरा बैंक, बैंक ऑफ इंडिया, पंजाब नेशनल बैंक, एसबीआई, बीआरकेजीबी, इंडियन बैंक, यूनियन बैंक, एसके फाइनेंस और बीएसएनएल, चूरू के प्रतिनिधि की ओर से पक्षकारों के प्रकरणों में निस्तारण के प्रभावी प्रयास किए गए। एमएसीटी के प्रकरणों में मेडिकल बोर्ड की ओर से विकलांगता प्रमाण पत्र जारी किए गए। सचिव डॉ. शरद कुमार व्यास ने बताया- राष्ट्रीय लोक अदालत में जिले में कुल 31 हजार 407 प्रकरणों को रेफर किया गया। इनमें कुल 23 हजार 352 प्रकरणों का निस्तारण कर 21 करोड़ 76 लाख दो हजार 483 रुपए का अवार्ड जारी किया गया। चूरू मुख्यालय पर 726 लंबित और 3022 प्री-लिटिगेशन प्रकरणों का निस्तारण किया गया।

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