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राजस्थान की सांस्कृतिक और ऐतिहासिक धरोहरों को बेस्ट वेडिंग डेस्टिनेशन के रूप में पहचान दिलाने के लिए फेडरेशन ऑफ हॉस्पिटैलिटी एंड टूरिज्म ऑफ राजस्थान (एफएचटीआर) और राजस्थान पर्यटन विभाग के तत्वावधान में आज उदयपुर सिटी पैलेस के दरबार हॉल में ‘वेडिंग इन इंडिया-अपॉर्च्युनिटी इन राजस्थान’ विषय पर चर्चा सत्र का आयोजन किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत मेवाड़ के पूर्व राजपरिवार के सदस्य डॉ. लक्ष्यराज सिंह मेवाड़ के स्वागत के साथ हुई। चर्चा के दौरान भारत में टूरिज्म को प्रमोट करने व पीएम मोदी के विज़न के अनुसार राजस्थान में डेस्टिनेशन वेडिंग्स को बढ़ावा देने पर बात की गई। यह चर्चा एफएचटीआर की ओर से 13 से 15 सितंबर, 2024 को जयपुर के बिड़ला ऑडिटोरियम में होने वाले चौथे राजस्थान डोमेस्टिक ट्रेवल मार्ट (आरडीटीएम) की तैयारियों का हिस्सा है। चर्चा सत्र में डा. मेवाड़ ने बतौर मुख्य वक्ता कहा कि हमें हमारे पूर्वजों की बनाई हुई धरोहरों का संरक्षण करना है। हमारी संस्कृति ही हमारी शक्ति है इसलिए उसे साथ लेकर चलना ही हमारा ध्येय होना चाहिए। हम सभी को एकत्रित होकर पर्यटन को आगे बढ़ाने की आवश्यकता है। ज़ाहिर है कोई भी यह काम अकेला नहीं कर सकता यदि हम एक हो जाएंगे तो पूरी दुनिया राजस्थान को टूरिज्म की श्रेणी में प्रथम पाएगी। मेवाड़ ने कहा कि उदयपुर के खूबसूरत पैलेस, इमारतें और यहां की संस्कृति से मंत्रमुग्ध होने के बाद हम अक्सर यह सुनते हैं कि उदयपुर इज द वेनिस ऑफ द ईस्ट, जबकि हमारा उद्देश्य है कि उदयपुर की विरासत को इस स्तर तक पहुंचाना है कि देश विदेश से लोग आयें और यह कहने पर मजबूर हो जायें कि ‘वेनिस इज द उदयपुर ऑफ वेस्ट’। हम तब जाकर ही लक्ष्य पर राज कर पाएंगे। पर्यटन निदेशक डॉ रश्मि शर्मा ने कहा कि मुझे यह बताते हुए गर्व है कि उदयपुर अपने आप में दुनिया में ग्रैंड वेडिंग्स और शानदार पैलेस के लिए एक अलग पहचान रखता है और इसी क्रम में उदयपुर ने बहुत से ख़िताब अपने नाम किए हैं। यह ट्रैवल मार्ट मील का पत्थर साबित होगा क्योंकि यह टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए सभी आवश्यक तत्वों को एक ही छत के नीचे लेन का काम कर रहा है। एफएचटीआर के प्रेसिडेंट कुलदीप सिंह चंदेला ने कहा कि उदयपुर का पर्यटन में काफ़ी बड़ा योगदान है। इतने सालों में यहां पर्यटकों के आने का सिलसिला बढ़ा है, साथ ही होटेल्स की संख्या में भी बढ़ोतरी हुई है इसके फलस्वरूप उदयपुर में पर्यटन उद्योग में विकास हुआ है। उन्होंने कहा कि अब वक़्त आ गया है कि राजस्थान को नई वेडिंग डेस्टिनेशन के रूप में तैयार किया जाए। यहां की धरोहर, ऐतिहासिक इमारतें और वोकल फॉर लोकल की सादगी लोगों को अपनी और आकर्षित कर रही है जिसके लिए न सिर्फ़ देशवासी बल्कि विदेशों तक से लोग यहां आकर वेडिंग प्लान कर रहे है। पैनल डिस्कशन के दौरान राजस्थान के गांवों, पैलेस और रॉयल प्रॉपर्टीज़ को नए वेडिंग डेस्टिनेशन तैयार करने पर बात की गई। इससे गांव में टूरिज़्म बढ़ेगा और लोकल लोगों को रोज़गार मिले सकेगा। इसके अलावा वाइल्डलाइफ टूरिज्म पर भी लगातार काम किया जा रहा है। सरकार का विज़न है की मौजूदा जंगलों का संरक्षण किया जाये और नये जंगल बनाये जाए। अन्य वक्ताओं में वेडिंग सूत्र के सीईओ पार्थिप त्यागराजन, क्यू इवेंट्स के मुख्य कार्यकारी अधिकारी ऋतुराज खन्ना और वेडिंग्स बाय डब्ल्यूडीएनई के संस्थापक और सीईओ दुश्यंत पेरिवाल , वीरेंद्र सिंह शेखावत, महेंद्र सिंह राठौर, तरुण कुमार बंसल, रणविजय सिंह आदि ने विचार रखे।

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