साइबर हाइजीन और चिकित्सीय उपेक्षा विषय पर आज जिला विधिक सेवा प्राधिकरण जयपुर जिला और एसएस जैन सुबोध लॉ कॉलेज के संयुक्त तत्वावधान में विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया। सत्र के दौरान प्राधिकरण के सचिव पवन कुमार जीनवाल ने कहा कि सुरक्षित पासवर्ड, टू-फैक्टर ऑथेंटिकेशन और जिम्मेदार इंटरनेट उपयोग के माध्यम से साइबर अपराधों से बचा जा सकता है। उन्होंने छात्रों को साइबर फिशिंग, डिजिटल अरेस्ट और सोशल मीडिया पर होने वाले फ्रॉड से सतर्क रहने की सलाह दी और छात्रों को हेल्पलाइन नंबर-1930 एवं संचार सारथी पोर्टल की जानकारी भी दी। इसके साथ ही साइबर फॉड के मामलों में पीडित को उसके पैसे वापस प्राप्त करने की प्रक्रिया व विधिक प्रावधानों की भी जानकारी दी गई। चिकित्सीय उपेक्षा की शिकायत कैसे करें
पवन कुमार जीनवाल ने विद्यार्थियों को चिकित्सीय उपेक्षा के मामले किस प्रकार के होते है, इनकी शिकायत कहा की जाए और ऐसे मामलों की शिकायत हेतु क्या प्रक्रिया अपनाई जाए। इसके बारे में भी जानकारी दी। उन्होंने लीगल एड डिफेन्स काउंसल सिस्टम (लडक्स) और जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के कार्यों के बारे में भी स्टूडेंट्स को बताया। कार्यक्रम में छात्रों द्वारा साइबर के जंगल में झांसा नुक्कड़ नाटक प्रस्तुत किया गया जिसके द्वारा उन्होंने दर्शकों एवं अपने सहपाठियों को साइबर ठगी जैसे विषय पर जागरूक किया। कार्यक्रम में कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. गौरव कटारिया ने बताया कि एस. एस. जैन सुबोध लॉ कॉलेज निरंतर इस प्रकार के विधिक जागरूकता कार्यक्रमों के माध्यम से समाज में विधिक साक्षरता को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध है।