करौली में जिला विकास एवं समन्वय समिति (दिशा) की बैठक कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित की गई। बैठक निर्धारित समय से पौने दो घंटे की देरी से शुरू हुई। सांसद भजनलाल जाटव ने बैठक में कई मुद्दों पर अधिकारियों को जवाबदेह ठहराया। उन्होंने पालनहार योजना और सिलिकोसिस पीड़ितों की पेंशन में हो रही देरी पर कड़ी नाराजगी जताई। सांसद ने अधिकारियों से आमजन की समस्याओं का संवेदनशीलता से समाधान करने का निर्देश दिया। जिला कलेक्टर के देर से पहुंचने पर सांसद कमरे से बाहर चले गए। आधे घंटे बाद वे कलेक्टर के साथ लौटे और बैठक में शामिल हुए। सांसद ने करणपुर और टोडाभीम क्षेत्र की खराब सड़कों का मुद्दा उठाया। बिजली विभाग की कार्यप्रणाली पर भी सवाल उठे। ट्रांसफॉर्मर की उपलब्धता में देरी, कनेक्शन के लंबित मामले और हिंडौन विद्युत विभाग के अधिकारियों द्वारा फोन न उठाने पर सांसद ने नाराजगी जताई। हर घर नल से जल योजना की धीमी प्रगति और पेयजल आपूर्ति की समस्याओं पर भी चर्चा हुई। एनएचएआई से करौली शहर के प्रस्तावित बायपास और करौली-हिंडौन फोरलेन रोड की प्रगति की जानकारी ली गई। सांसद निधि के उपयोग पर जाटव ने कहा कि 5 करोड़ रुपए की राशि क्षेत्र के विकास के लिए पर्याप्त नहीं है। उन्होंने बताया कि बायपास और सड़कों की स्वीकृति दिलाई गई है। कुछ स्थानों पर धनराशि स्वीकृत की गई है, जिसकी सूची वे बाद में उपलब्ध कराएंगे। इस मौके पर जिला कलेक्टर नीलाभ सक्सेना, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक गुमनाराम, अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट हेमराज परिडवाल, जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी शिव चरण मीणा, कांग्रेस के जिलाध्यक्ष शिवराज सिंह और अन्य जिला स्तरीय अधिकारी मौजूद रहे।