gnsp 7zxeaabjzj 1752652742 ifsPMk

भारतीय फुटबॉल के पूर्व कप्तान सुनील छेत्री ने इंडियन सुपर लीग (ISL) के रोके जाने पर गहरी चिंता जताई है। उन्होंने कहा, इस समय जो स्थिति है, वह भारतीय फुटबॉल के लिए बहुत ही परेशान करने वाली है और इससे जुड़े खिलाड़ी, कोच, मेडिकल स्टाफ, और अन्य सभी लोग डरे और दुखी हैं। भविष्य को लेकर चिंता- छेत्री छेत्री, जो बेंगलुरु FC के लिए ISL में खेलते हैं। उन्होंने सोशल मीडिया पर लिखा कि देशभर के खिलाड़ियों और स्टाफ से लगातार उन्हें फोन और मैसेज मिल रहे हैं, जिनमें भविष्य को लेकर चिंता जताई गई है। उन्होंने कहा कि यह केवल उनकी निजी परेशानी नहीं है, बल्कि पूरे फुटबॉल जगत की है। AIFF और FSDL के बीच नया एग्रीमेंट नहीं हुआ ISL के 2025-26 सीजन को इसलिए रोका गया है क्योंकि ऑल इंडिया फुटबॉल फेडरेशन (AIFF) और आयोजनकर्ता कंपनी फुटबॉल स्पोर्ट्स डेवलपमेंट लिमिटेड (FSDL) के बीच मास्टर राइट्स एग्रीमेंट (MRA) का नवीनीकरण अभी नहीं हुआ है। सुप्रीम कोर्ट ने AIFF को निर्देश दिया है कि जब तक AIFF पर अंतिम फैसला नहीं आ जाता, तब तक वह FSDL के साथ कोई नया समझौता न करे। 2010 में 15 साल का एग्रीमेंट हुआ था FSDL और AIFF के बीच 15 साल का समझौता 2010 में हुआ था, जिसके तहत FSDL हर साल AIFF को 50 करोड़ रुपए देता है और बदले में उसे भारतीय फुटबॉल (ISL और राष्ट्रीय टीम सहित) का प्रसारण, प्रबंधन और प्रचार का अधिकार मिला है। मुझे लगा फिट होने का समय है- छेत्री छेत्री ने कहा कि जब उन्होंने ISL के रुकने की खबर छुट्टी के दौरान सुनी तो उन्हें लगा कि अब उनके पास फिट होने का और समय है, लेकिन जब पता चला कि यह रोक अब अनिश्चितकालीन है, तो उनकी चिंता बढ़ गई। उन्होंने सभी खिलाड़ियों और सपोर्ट स्टाफ से संयम रखने और एक-दूसरे का साथ देने की अपील की। उन्होंने भरोसा जताया कि फुटबॉल जल्द ही दोबारा शुरू होगा। AIFF ने भी कहा है कि वह ISL की अहमियत को समझता है, लेकिन कोर्ट के आदेश का पालन करना उसकी मजबूरी है।

Leave a Reply